दिल्ली शराब घोटाला 6 माह बाद आप नेता संजय सिंह को मिली जमानत

नई दिल्ली। दिल्ली शराब घोटाले में अब तक आरोपी माने जाने वाले आप नेता को आखिरकार 6 महीने बाद जमानत पर रिहा कर दिया गया, इस पुरे मामले में महत्वपूर्ण तथ्य यह सामने निकलकर आया की उक्त मामले अब तक प्रमुख षड्यंत्रकारी बताए जा रहे संजय सिंह के खिलाफ जांच एजेंसी एक भी सबूत पेश नहीं कर पाई, वही मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट ने मामले में जांच एजेंसी पर सख्त टिप्पणी करते हुए आज सुप्रीम कोर्ट ने भी कहा कि जब कोई मनी ट्रायल नहीं मिला तो फिर उन्हें कस्टडी में रखने की क्या वजह है ? इसके बाद संजय सिंह को मामले में जमानत दे दी गई।

संजय सिंह के खिलाफ कोई सबूत नहीं

सुनवाई के दौरान संजय सिंह की ओर से पेश वरिष्ठ वकील अभिषेक सिंघवी ने कहा कि आप नेता को सरकारी गवाह दिनेश अरोड़ा के आधार पर गिरफ्तार किया गया था, जिन्होंने एजेंसी के समक्ष दर्ज दसवें बयान में उनका नाम लिया था। संजय सिंह को इस मामले में पिछले साल 4 अक्टूबर को ईडी ने गिरफ्तार किया था। संजय सिंह के खिलाफ कोई सबूत नहीं है।

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संजय सिंह ने इस आधार पर मांगी थी जमानत

उच्च न्यायालय के समक्ष संजय सिंह ने इस आधार पर जमानत मांगी थी कि वह कई महीनों से हिरासत में हैं और इस अपराध में उनकी कोई भूमिका नहीं बताई गई है। जांच एजेंसी ने उच्च न्यायालय में जमानत याचिका का विरोध किया था और दावा किया था कि संजय सिंह 2021-22 की नीति अवधि से संबंधित दिल्ली शराब घोटाले से उत्पन्न अपराध की आय को प्राप्त करने, रखने, छिपाने, फैलाने और उपयोग करने में शामिल थे।

दिल्ली के कथित शराब घोटाले में AAP सांसद संजय सिंह को सुप्रीम कोर्ट से जमानत मिलने के बाद आम आदमी पार्टी की प्रतिक्रिया भी सामने आई है। आप की राष्ट्रीय प्रवक्ता प्रियंका कक्कड़ ने कहा, ‘आज भगवान हमारे साथ हैं, बजरंग बली हमारे साथ हैं, सच्चाई की जीत हुई है। हम शुरू से कह रहे थे कि यह पूरा केस फर्जी है और इसे बीजेपी कार्यालय में लिखा गया है। यहां तक कि 500 बार रेड पड़ने के बावजूद एक पैसा भी नहीं मिला है। आज सुप्रीम कोर्ट ने भी कहा कि जब कोई मनी ट्रायल नहीं मिला तो फिर उन्हें कस्टडी में रखने की क्या वजह है?’

कोर्ट के फैसले के बाद मुखर हुए सौरभ भारद्वाज

सौरभ भारद्वाज ने कहा, ‘2 अप्रैल को मंगलवार के दिन आम आदमी पार्टी के ऊपर जो संकट था उसे संकटमोचक हनुमान जी ने कुछ कम किया है। सुप्रीम कोर्ट में तीन जजों की बेंच ने संजय सिंह की जमानत पर सुनवाई की। खुद जज साहब ने कुछ प्रश्न ईडी से किए। कोर्ट ने पूछा कि आप कह रहे हैं कि दिनेश अरोड़ा ने अपने 10 बयानों में संजय सिंह के बारे में उसने कुछ नहीं कहा। उसके ग्यारहवें बयान में उसने कहा कि मेरे एक आदमी से संजय सिंह के एक आदमी ने 1 करोड़ रुपए लिए। लेकिन पैसे कहां गए इसका कुछ अता-पता नहीं। सिर्फ एक आदमी के ग्यारहवें बयान के आधार पर उन्हें गिरफ्तार कर लिया जाता है।’

सौरभ भारद्वाज ने आगे कहा, ‘सुप्रीम कोर्ट का दूसरा बयान था कि क्या कोई पैसा मिला है? अगर पैसा नहीं मिला तो पीएमएलए कैसे लगा? अंत में सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि यह कैसे मान लिया जाए कि किसी ने 11 बयान दिए उसमें से 10 बयान कचरे में डाल दिये और सिर्फ एक बयान पर उसे जेल में डाल दिया।’ इसके बाद सौरभ भारद्वाज ने कहा, ‘ये वही बात है जो मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने राउज एवेन्यू कोर्ट में बोली कि एक-एक आदमी से सात-सात बयान लिए गए। छह बार उसने कुछ नहीं बोला।

आपने उनके बच्चों को जेल डाल छह महीने तक सड़ाया। फिर आपने मेरे खिलाफ बयान ले लिया। ठीक वैसी ही बात सुप्रीम कोर्ट ने पूछी जिसके बारे में केंद्र सरकार के पास कोई जवाब नहीं था और सुप्रीम कोर्ट ने लंच आते-आते ईडी को यह कहा कि अगर आप कोई इंस्ट्रक्शन लाते हैं तो लेकर आइए वरना हम इनको रिहा करेंगे और रिहाई हम जो जजमेंट लिखेंगे वो आपके पूरे केस को तहस-नहस कर देगा। ईडी के पास कोई रास्ता नहीं बचा।’

आप सत्य को दबा सकते हैं लेकिन मिटा नहीं सकते हैं – आतिशी

आतिशी ने कहा कि संजय सिंह को मिली बेल ने साबित कर दिया कि आखिरकार जीत सत्य की ही होती है। आप सत्य को दबा सकते हैं लेकिन मिटा नहीं सकते हैं। हमने देखा कि किस तरह से पिछले 2 साल से एक-एक कर आम आदमी पार्टी के नेताओं को झूठे केसों में फंसाया जा रहा था। पहले सत्येंद्र सिंह, फिर मनीष सिसोदिया, इसके बाद संजय सिंह और फिर अऱविंद केजरीवाल जी को गिरफ्तार कर जेल में डाला। लेकिन संजय सिंह की जमानत बताती है कि आखिरकार जीत सत्य की ही होती है। दो अहम बातें पूरे देश के सामने आई हैं। सुप्रीम कोर्ट ने पूछा कि मनी ट्रायल कहां है? इसका जवाब ईडी के पास नहीं था। इस जांच को 2 साल से ज्यादा हो गए। सीबीआई और ईडी ने जांच के लिए 500 अफसर लगाए लेकिन सीबीआई और ईडी के पास आम आदमी पार्टी का कोई भी नेता इस अपराध में शामिल नहीं मिला। 

उन्होंने कहा की जो यह ईडी का सारा केस है। जिसके तहत संजय सिंह, मनीष सिसोदिया और केजरीवाल को गिरफ्तार किया गया है। वो सिर्फ और सिर्फ गवाहों के बयान के आधार पर हैं। ऐसे गवाह जिन्होंने कई बार बयान दिए जिसमें आप नेताओं पर कोई दबाव नहीं था। लेकिन आम आदमी पार्टी के खिलाफ गवाही देने के लिए उनपर दबाव बनाया गया. धमकाया गया औऱ जेल में डाला गया।

संजय सिंह को जमानत मिलने पर CPI के नेता डी राजा ने कहा, ‘यह केंद्र सरकार की प्रतिशोध की राजनीति पर प्रहार है। इससे यह आशा जगी है कि दूसरों को भी जमानत मिलेगी और वो रिहा हो जाएंगे। सत्य और न्याय की जीत होगी।’

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